न्यूज नजर : प्रकृति अपना संदेश ऋतुओं को दे कर कहने लगी कि हे ऋतुएं जरा संभल कर अपने गुण धर्म को लागू करना अन्यथा सृष्टि का संतुलन बन नहीं पायेगा। अपने आधार को मजबूत रखना ताकि बदलते हुए आकाशीय ग्रह नक्षत्रों व पिंड तुम्हारे गुण धर्म को प्रभावित ना कर सके। …
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