अजमेर। शहर में सावन-भादो में मेलों की धूम रही। यह धूम पूर्णिमा पर बुधवार को रामगंज में कार्यसिद्धि बालाजी मेले के साथ थम गई। तीन दिवसीय मेले का धूमधाम से समापन हुआ। हजारों शहरवासियों ने देर रात 1 बजे तक मेले का लुत्फ उठाया।
मेले के पहले दिन सोमवार को महंत मोहनगिरी के सान्निध्य में ध्वजारोहण के बाद भजन संध्या हुई। अगले दिन मंगलवार को राम दरबार की शानदार शोभायात्रा काली के अखाड़ों के साथ निकली। आखिरी दिन बुधवार को दिनभर मेला क्षेत्र में चहल-पहल रही। शाम ढलने के साथ ही हजारों लोग मेले में उमड़ पड़े।
व्यंजनों की खुशबू के बीच झूलों की आवाजें, डीजे पर गूंजते भजनों ने मेले की रंगत बढ़ा दी। रामगंज में जहां आम दिनों में चौबीसों घण्टे वाहन दौड़ते हैं, वहां सिर्फ मेलार्थियों का राज रहा। सैकड़ों दुकानें सजी थीं।
चन्द घण्टों में हजारों लोगों ने लाखों रुपए की खरीददारी कर ली। खेल-खिलौनों से लेकर घरेलू उत्पाद, कपड़े, सजावटी सामान आदि जमकर बिके। लोगों ने मंदिर में दर्शन किए। साथ ही मन्दिर के बाहर सजाई गई विशाल झांकियों के दर्शन किए। कई स्थानीय लोगों ने मेलार्थियों की सेवा के लिए शीतल जल की व्यवस्था की।
सुरक्षा व्यवस्था में कमी अखरी
मेले में इस बार पुलिस जाप्ता पर्याप्त नहीं होने से मनचलों की मौज रही। हजारों लोगों की भीड़ के बीच चुनिंदा पुलिसकर्मी तैनात दिखे। जबकि मेले में होस्टल के छात्रों सहित कई बस्तियों के युवक पुपाडिया बजाते हुए शांतिभंग करते रहे।
मनचलों में पुलिस का डर बिल्कुल नजर नहीं आया। गत दिनों ऊसरी गेट पर भरे तेजाजी के मेले में भी मनचलों ने पुपाडियो के शोर से मेलार्थियों के कान पका दिए थे। रामगंज मेले में भी वही माहौल नजर आया। गत वर्ष की तुलना में मनचलों पर पुलिस की नकेल नहीं रही।