नई दिल्ली। भारत देश ने शुक्रवार मध्यरात्रि इतिहास रच दिया। दुनिया की सबसे बड़ी कर क्रांति हो गई। संसद के सेंट्रल हॉल में रात ठीक 12 बजे राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने बटन दबाकर देश में GST लागू होने की घोषणा की। उन्होंने इसे व्यक्तिगत उपलब्धि बताया।
इस मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि यह किसी अकेले की नहीं बल्कि हम सबकी सिद्धि है।
2 साल 11 महीने 17 दिन तक देशभर के विशेषज्ञों से चर्चा के बाद GST को तैयार किया गया है।
उन्होंने सेंट्रल हॉल को अति पवित्र स्थान बताते हुए कहा कि GST पूरे देश को एक धागे में पिरोएगा। गीता के भी 18 अध्याय है और GST काउन्सिल की भी 18 मीटिंग्स के बाद इसे लागू किया जा रहा है। हमने गरीबों के लिए सभी योजनाएं-सुविधाएं पूर्ववत रखी हैं।
जैसे सरदार पटेल ने 500 से ज्यादा रियासतों को मिलाकर एकीकरण किया, उसी तरह हम सभी 500 तरह के टैक्स का एकीकरण कर रहे हैं। मोदी ने GST की नई व्याख्या करते हुए कहा कि यह गुड़ और सिम्पल टैक्स है। इसकी कमियां निकालने की बजाय इसे सफल बनायें।
इससे पहले रात करीब 11.4 बजे राष्ट्रगान की धुन बजाई गई।
वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा कि सभी दलों ने सर्व सम्मति से इसे पास करके साबित कर दिया कि भारत एक है। सभी राज्यों के सभी दलों को उन्होंने धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा कि टैक्स पर टैक्स अब नहीं लगेगा। उन्होंने GST काउन्सिल का भी आभार व्यक्त किया। इस दौरान सभासदों ने बार-बार टेबल बजाकर स्वागत किया।
ये थे मौजूद
उप राष्ट्रपति हामिद अंसारी, लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन, पूर्व प्रधानमंत्री एच डी देवगौड़ा, इंद्र कुमार गुजराल, लाल कृष्ण आडवाणी, अमित शाह, शत्रुघ्न सिन्हा समेत सभी बड़े नेता, मंत्री व विभिन्न क्षेत्रों के गणमान्य लोग मौजूद थे।