मानवाधिकार आयोग ने दर्ज किया मामला
गुवाहाटी। एक बच्चे को एचआईवी संक्रमित खून चढ़ाने के मामले को गंभीरता से लेते हुए असम मानवाधिकार आयोग (एएचआरसी) ने स्वतः संज्ञान लेते हुए मामला दर्ज किया है। यह मामला राज्य के प्रतिष्ठित गुवाहाटी मेडिकल कालेज अस्पताल (जीएमसीएच) में प्रकाश में आया है। घटना के अनुसार आग में जल जाने के चलते साढ़े तीन वर्षीय एक बच्चे को इलाज के लिए जीएमसीएच में भर्ती कराया गया था, जहां पर उसे एचआईवी संक्रमित खून चढ़ाया गया।
ज्ञात हो कि गत वर्ष अप्रैल माह में राज्य के कामरूप जिला के रहने वाले एक गरीब परिवार का बच्चा 40 प्रतिशत के आसपास आग में झुलस गया था। जिसे इलाज के लिए जीएमसीएच में भर्ती कराया गया था। बच्चे को अस्पताल से बीते वर्ष अक्तूबर में छुट्टी दे दी गई। बच्चे के शरीर में 10 से 12 आपरेशन किए गए थे, इसी दौरान उसे जीएमसीएच के ब्लड बैंक का खून चढ़ाया गया था।
इसी बीच इस वर्ष 29 मार्च को बच्चे को फिर से आपरेशन के लिए जीएमसीएच में भर्ती कराया गया। आपरेशन के बाद बच्चे के खून की बीते 31 मार्च को जांच की गई। डाक्टरों ने जांच रिपोर्ट देखने के बाद बताया कि बच्चा एचआईवी रोग से ग्रसित है। हालांकि अस्पताल प्रबंधन की ओर से अभिभावकों को कुछ भी न बताते हुए उसका अस्पताल में इलाज के नाम पर भर्ती किए हुए है।
इस घटन की जानकारी जब मीडिया के जरिए सार्वजनिक हुई तो एएचआरसी ने तुरंत एक मामला दर्ज करते हुए राज्य के मुख्य सचिव को मामले की तुरंत एक उच्चस्तरीय कमेटी से जांच कराने को कहा है। साथ ही इस मामले के लिए जिम्मेदार डाक्टर, नर्स या अन्य जो भी हो उसके खिलाफ कड़ी से कड़ी कार्रवाई करने को कहा है। आयोग ने अगले 30 दिनो के भीतर रिपोर्ट देने को कहा है।
इस संबंध में मुख्यमंत्री तरुण गोगोई ने कहा कि इस तरह की लापरवाही को बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। इसके लिए जो भी कोई दोषी होगा, उसके खिलाफ कड़ी से कड़ी कार्रवाई की जाएगी। साथ ही उन्होंने पीड़ित बच्चे के बेहतर इलाज का भरोसा देते हुए सरकार की ओर से हर संभव मदद का आश्वासन दिया है।