नई दिल्ली। मोदी सरकार ने वास्तव में अकल्पनीय कर दिखाया है। अब देशभर में पेट्रोल पम्पों पर डिस्पेंसिंग मशीनें बदलने की नौबत आ चुकी है। पेट्रोल-डीजल के लगातार बढ़ते दामों की वजह से यह नौबत आई है।
दरअसल पेट्रोल पम्पों पर लगी डिस्पेंसिंग मशीनों में 100 रुपए तक का ही डिस्प्ले दिखाने की सुविधा है। जल्द ही पेट्रोल के दाम 100 रुपए पार भी कर सकते हैं। ऐसे में सबसे पहले इन मशीनों को अपग्रेड करना पड़ेगा।
देश में इस समय 58 हजार पेट्रोल पंप हैं। इनमें से 54 हजार पेट्रोल पंप सिर्फ सरकारी तेल कंपनियों के हैं। प्रधान के मुताबिक, हर पेट्रोल पंप पर औसतन 4 से 5 डिस्पेंसिंग मशीनें लगी होती हैं। इस हिसाब से देश में 2.50 लाख के करीब डिस्पेंसिंग यूनिटें हैं।
अगर पेट्रोल पंप की कीमतें 100 रुपए के पार पहुंचती हैं, तो पेट्रोल पंप संचालकों को मशीनें बदलनी या अपग्रेड करना पड़ेगा।
यह है दिक्कत
पेट्रोल पंप पर जो मशीनें लगी रहती हैं, उनमें मुख्य रूप से तीन तरह के डिस्प्ले होते हैं।
अमाउंट : जिसमें पेट्रोल या डीजल कितने रुपए का डलवाना है, ये दिखाता है।
वॉल्यूम : इसमें कितने लीटर का पेट्रोल या डीजल डाला जा रहा है, ये दिखाता है।
रेट : इसमें आज पेट्रोल और डीजल की कीमत कितनी है, ये दिखाता है। इसमें सिर्फ 4 डिजिट तक ही सेट हो सकती है। जिसमें 2 डिजिट रुपए की और 2 डिजिट पैसे की होती है। अगर पेट्रोल की कीमत 99.99 रुपए है, तो 99 रुपए और 99 पैसे तक की कीमत तो डिस्प्ले पर दिखा सकते हैं। अगर पेट्रोल की कीमत 100 रुपए पहुंचती है तो डिस्प्ले पर 100.00 रुपए नहीं दिखा सकते। क्योंकि मशीन 5 डिजिट एक्सेप्ट ही नहीं करती है।
पेट्रोलियम कंपनियां आखिरी वक्त में जाग रही हैं। डिस्पेंसिंग यूनिट्स को जब डिजिटल बनाया गया था तब ये बात नहीं सोची थी कि एक दिन पेट्रोल की कीमत 100 रुपए प्रति लीटर तक हो जाएगी। इसका खामियाजा अब डीलर्स और ग्राहकों को भुगतना पड़ेगा, क्योंकि सिस्टम को अपग्रेड करने में समय लगेगा।