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दिल्ली में नई डीजल गाडिय़ां प्रतिबंधित, ग्रीन टैक्स दोगुना


नई दिल्ली। गैस चैम्बर बन चुकी राजधानी दिल्ली में प्रदूषण को रोकने के लिए उच्चतम न्यायालय ने एक अहम फैसला सुनाया है। बुधवार को दिए अपने फैसले में दिल्ली सरकार को आदेश दिया गया है कि राजधानी और एनसीआर इलाके में 2000 सीसी से ज्यादा की नई डीजल कारों का रजिस्ट्रेशन 31 मार्च 2016 तक के लिए बंद कर दिया जाए।  साथ ही न्यायालय ने प्रदूषण फैलाने वाले गाडिय़ों पर ग्रीन टैक्स की रकम को भी दोगुना करने का आदेश दिया है।
उच्चतम न्यायालय ने कहा कि राजधानी दिल्ली और एनसीआर इलाकों में प्रदूषण आम नागरिकों के लिए हानिकारक हो गया है। इसलिए दिल्ली सरकार 2000 सीसी से ज्यादा की नई डीजल कारों के रजिस्ट्रेशन पर अगले वर्ष मार्च 2016 तक रोक लगाए । इस फैसले के दायरे में इनोवा, स्कोर्पियो, बीएमडब्लू सहित तमाम एसयूवी गाडिय़ां शामिल होगी।
उच्चतम न्यायालय ने राजधानी में चलने वाले कॉमर्शियल गाडिय़ों पर लगने वाले ग्रीन टैक्स भी दोगुना कर दिया गया है ।

 

इन गाडिय़ों पर लगने वाले ग्रीन टैक्स को अब 1400 और 2600 रुपए कर दिया है, जो पहले 700 और 1300 रुपए था। न्यायालय ने कहा कि प्रदूषण को रोकने के लिए यह जरूरी है कि दूसरे राज्यों से राजधानी में प्रवेश करने वाले गाडिय़ों पर भी प्रतिबन्ध लगाया जाए। केन्द्र और दिल्ली सरकार 2005 से पुरानी गाडिय़ों के राजधानी में प्रवेश करने पर पाबंदी लगाए। फैसले की वजह से प्रदूषण फैलाने वाले वाहनों का अन्य राज्यों से दिल्ली में आवागमन नहीं हो सकेगा।

 

कोर्ट ने सरकार को यह भी आदेश दिया है कि 31 मार्च तक राजधानी में चलने वाले सभी डीजल गाडिय़ों को सीएनजी में बदला जाए।
उच्चतम न्यायालय के आदेश पर खुशी सेंटर फॉर साइंस एंड एनवायरनमेंट की निदेशक सुनीता नारायण ने कहा कि यह फैसला दिल्ली सहित एनसीआर में रहने वाले लोगों के लिए काफी फायेदमंद है। राजधानी में प्रदूषण की मात्रा खतरे की निशान से ज्यादा बढ़ गई है। ऐसे में शीर्ष अदालत का यह फैसला राहत का विषय है।