मेरठ। फेरों से पूर्व दूल्हे के खम्बे से टकराने पर पोल खुल गई। दूल्हा अंधा निकला, जिसकी धोखाधड़ी से शादी की जा रही थी। भेद खुलने पर दुल्हन ने शादी करने से इंकार कर दिया।
दुल्हन के बगावती तेवर होते ही बारात को बंधक बना लिया गया। दुल्हन वालों ने विवाह समारोह में साढ़े चार लाख खर्च होना बताया है।
दोनों पक्षों के बीच में बुधवार की रात्रि तक वार्ता चलती रही, लेकिन कोई नतीजा नहीं निकला। मामला टीपीनगर क्षेत्र के अम्बेडकर नगर नई बस्ती का है।
यहां रहने वाले रतनलाल ने अपनी पुत्री रूबी का रिश्ता खरखौदा क्षेत्र के गांव आढ़ निवासी राजवीर के पुत्र संजय से किया था।
बुधवार को संजय बारात लेकर आया। दूल्हे के रूप में आए संजय ने आंखों पर काला चश्मा लगा रखा था और उसकी गतिविधियां भी संदिग्ध थी।
संजय को उसके दोस्त लेकर चल रहे थे और ऐसा लग रहा था जैसे वे उसे रास्ता बता रहे हो। इसको लेकर गांव और दुल्हन के रिश्तेदारों में सुगबुगाहट होनी शुरू हो गई।
बारात आने के बाद जयमाला के साथ-साथ अन्य रश्में भी हुई, लेकिन दूल्हे की आंखों से काला चश्मा नहीं उतरा। शक तो हुआ, लेकिन कोई कुछ नहीं बोला।
इसी बीच फेरों का समय आ गया, लेकिन इससे पूर्व दूल्हा खम्बे से टकरा गया। दूल्हे के खम्बे से टकराने पर लोगों ने उसको पकड़ लिया। काला चश्मा उतरते ही दूल्हे ने कह दिया कि वह अंधा है।
आवाज दुल्हन के कानों तक पहुंची और उसने शादी से इंकार कर दिया। बस फिर बारात को बंधक बना लिया गया। दुल्हन के परिजनों ने आरोप लगाया दूल्हे वालों ने धोखाधड़ी की। दिखाया कोई और दूल्हा बनकर आया कोई और।
देर रात्रि तक हंगामा जारी था और दुल्हन वाले शादी में खर्च हुए साढ़े चार लाख रुपयों की मांग पर अड़े थे। पुलिस ने जानकारी से इंकार किया है।