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नामदेव समाज विकास परिषद…एक कदम एकता की ओर


नामदेव न्यूज डॉट कॉम
अजमेर। किसी ने सही कहा है कि आगे बढऩा है तो कदम उठाना ही पड़ेगा। आप एक कदम उठाइए, यकीन मानिए दूसरा कदम खुद-ब-खुद उठ जाएगा वो कदम आगे ही ले जाएगा। यह बात मध्यप्रदेश के नामदेव समाज पर सटीक लागू हुई। दो धड़ों में बंटे नामदेव समाज में लंबे समय से ‘एका’ की आवाज उठ रही है। समाज की आवाज आखिर रंग ले आई। विगत रविवार को दोनों धड़ों के दिग्गज एक मंच आए…एकता और समाज विकास के नाम पर। आपस में कुछ शिकवे-शिकायतें दूर हुईं…कुछ अनमोल सुझाव आए…देशभर के समाज में संदेश गया…और सबसे अहम, इस बैठक से दूसरी बैठक यानी अगली बातचीत का रास्ता खुला। इस कोशिश को नामदेव न्यूज डॉट कॉम का सलाम।


मध्यप्रदेश के सामाजिक, राजनीतिक और आर्थिक क्षेत्र में नामदेव समाज का अहम स्थान है। वहां लगभग 43 साल पुरानी नामदेव विकास परिषद 3315 संस्था के बैनरतले समाजबंधु एकजुट हैं मगर कड़वी सच्चाई यह भी है कि वहां समाज दो धुरियों में बंटा है। नामदेव विकास परिषद के संविधान संशोधन और विभिन्न संस्थाओं के एकीकरण के लिए रविवार को गाडरवारा शहर के महाराणा प्रताप महाविद्यालय सभागार में सर्वनामदेव समाज की ऐतिहासिक बैठक आहूत हुई। इस बैठक को लेकर इतना उत्साह था कि नई दिल्ली से लेकर पूरे मध्यप्रदेश के सभी शहरों से समाज के प्रतिनिधि उपस्थित हुए। सिर्फ इस उम्मीद में कि विभिन्न संगठनों का विलय होकर एक मजबूत संगठन का गठन होगा ताकि समाज विकास को नई दिशा मिल सके। प्रयास सकारात्मक थे…चर्चा सकारात्मक थी, लेकिन नतीजा स्पष्ट सामने नहीं आया। अलबत्ता नई राह जरूर खुली।


अखिल भारतीय नामदेव क्षत्रिय महासंघ के राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष ज्वाला प्रसाद नामदेव व राष्ट्रीय उपाध्यक्ष माननीय राजेन्द्र कुमार नामदेव गाडरवारा की पहल पर और उनकी मौजूदगी में यह ऐतिहासिक महत्वपूर्ण बैठक हुई। इसमें मध्यप्रदेश नामदेव समाज के दोनों गुटों के मुखिया अवधनारायण नामदेव भोपाल व राजेन्द्र नामदेव मेहर एक मंच पर आए। महेन्द्र सिंह नामदेव इंदौर, पंकज नामदेव गाडरवारा, महेन्द्र सिंह, अरुण नामदेव उज्जैन, सरोजवाला नामदेव भोपाल, चन्द्रकान्ति नामदेव, चन्द्रकांता नामदेव, उषा नामदेव, अन्य संगठनों के प्रान्ताध्यक्ष सर्व श्री मुन्नीलाल जबलपुर, के.के.नामदेव छतरपुर, राजाराम जबलपुर, रामभरत जबलपुर, एम.एल.नामदेव भोपाल, अजय नामदेव इन्दौर, गौरीशंकर पवार मुरार ग्वालियर, एस.के. मंडवाल खरगोन गंजबासोदा, पत्रकार बृजेशजी, रामभरतजी तथा अखिल भारतीय नामदेव फेडेरेशन के काउन्सलर मेंबर सर्वश्री सीताराम नामदेव आमगांव बड़ा, राजेश नामदेव करेली एवं तेजकुमार नामदेव खरगोन रायसेन, राजेन्द्र बघेल समेत विभिन्न शहरों से आए समाजबंधुओं ने चर्चा में हिस्सा लिया। खरगोन के ओमप्रकाश नामदेव एवं संतोष मंडवाल ने संविधान संशोधन का प्रारूप पेश किया जिसे सभी खूब सराहा।


बैठक के सकारात्मक पक्ष ये रहे कि सभी ने एकता का समर्थन किया…एक होने की इच्छा जताई…संविधान में संशोधन की आवश्यकता बताई, लेकिन बात यहां अधूरी रह गई कि अवधनारायण नामदेव और राजेन्द्र नामदेव मेहर दोनों आपस में यह तय नहीं कर सके कि सभी संगठनों के विलय के बाद गठित होने वाले संगठन का नेतृत्व कौन करेगा। संविधान संशोधन का प्रारूप सभी को पसंद आया लेकिन उस पर नीतिगत निर्णय नहीं हो सका।…खैर इस बार ना सही लेकिन अगली बार जब भी ऐसी मीटिंग होगी तो निश्चित रूप से कोई ना कोई ठोस निर्णय जरूर होगा। इस ऐतिहासिक मीटिंग आयोजन का असल श्रेय अखिल भारतीय नामदेव क्षत्रिय महासंघ के राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष ज्वाला प्रसाद नामदेव को जाता है जिनकी छत्रछाया में दोनों गुट बातचीत के लिए एक जाजम पर आए। आगे भी समाज ज्वाला प्रसाद नामदेव जैसी शख्सियत से उम्मीद करता है कि वे मध्यप्रदेश नामदेव समाज को एकसूत्र में पिरोने के लिए वे जल्द ही अगली मीटिंग तय करेंगे।
गाडरवारा समाज की प्रशंसा
मीटिंग के आयोज क गाडरवारा के नामदेव बंधुओं की सभी सहभागियों ने मुक्तकंठ से सराहना की। उनकी व्यवस्थाओं और आवभगत के सभी कायल हो गए।