कानपुर। बिधनू गोली कांड में फरार प्रॉपर्टी डीलर मनोज द्विवेदी पर बेटे की हत्या का मुकदमा चलेगा। पुलिस ने एफआईआर से गैर इरादतन हत्या की धारा हटा दी है। वहीं केस में आरोपी बनाई गई मृतक की पत्नी का नाम भी एफआईआर से बाहर कर दिया गया है। पुलिस की जांच में उनकी कोई भी भूमिका नहीं मिली है।
पुलिस की जांच में एक बात स्पष्ट हो गई कि वारदात की रात गोली धोखे से नहीं चली थी बल्कि जानबूझकर गोली मारकर हत्या की गई थी। बिधनू के द्विवेदी नगर में 23 सितंबर की रात प्रॉपर्टी डीलर मनोज द्विवेदी उर्फ बबलू का घर पर विवाद हुआ था। इसी दौरान उनके बेटे कमल द्विवेदी (28) की गोली लगने से मौत हो गई थी। मनोज तत्काल फरार हो गया था। मनोज की पत्नी गीता ने पति और कमल की पत्नी प्रीति पर गैर इरादतन हत्या का मुकदमा दर्ज कराया था।
जिसमें दावा किया गया था कि कमल विवाद के दौरान खुदकुशी के लिए बंदूक ले आया था। रोकने के दौरान जब छीनाझपटी हुई तो गोली चल गई थी। जो कमल को लगी। इधर प्रीति ने मामले में पुलिस को तहरीर दी थी जिसमें मनोज पर हत्या का आरोप लगाया था।
एएसपी आउटर आदित्य शुक्ला ने बताया कि मामले की जांच की गई। साक्ष्यों की समीक्षा की गई। जिसके बाद गैरइरादतन हत्या की धारा (304) को हत्या (302) में बदला गया। हत्या के सापेक्ष काफी अहम साक्ष्य पुलिस ने जुटाए हैं।
इसमें प्रीति की किसी तरह की भूमिका नहीं मिली। इसलिए उनका नाम केस से बाहर कर दिया गया है। अब हत्यारोपी मनोज की तलाश की जा रही है। जल्द गिरफ्तार कर जेल भेजा जाएगा।