उल्लेखनीय है कि शराब पार्टी और मारपीट की यह घटना तीन दिन पहले 11 जून की रात को अजमेर के गेगल थाना इलाके में स्थित जयपुर-अजमेर हाईवे पर स्थित होटल मकराना राज में हुई थी। यह पार्टी आईपीएस सुशील कुमार के तबादले के बाद की गई थी। सात जून को आई तबादला सूची में अजमेर मुख्यालय के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सुशील कुमार को नए बनाए गए जिले गंगापुर में प्रभारी अधिकारी लगाया गया था। उसके बाद सुशील कुमार ने अपने मित्रों के साथ यह पार्टी की थी।
पार्टी में टोंक जिले के तीन सरकारी कर्मचारी और अन्य लोग शामिल थे। शहर के एक होटल में पार्टी के बाद रात में ये अफसर कारों में सवार होकर होटल मकराना राज में खाना खाने पहुंचे। वहां बाहर कार में ही ड्रिंक कर रहे थे। इसी दौरान विश्नोई ने रेस्टोरेंट के एक कर्मचारी को थप्पड़ मार दिया। इस पर बाकी कर्मचारियों ने अफसरों से धक्का मुक्की कर दी। थोड़ी ही देर में अफसरों ने गेगल थाने से पुलिस टीम बुलवा ली और होटल कर्मचारियों को कमरों में घुसकर बेरहमी से पीटा। यह पूरी घटना वहां लगे सीसीटीवी कैमरों में कैद हो गई थी।
अधिकारियों की मौजूदगी के वीडियो आए सामने
अगले ही दिन यह मामला चर्चा में आ गया। जांच के दौरान आईएएस और आईपीएस अधिकारियों की मौजूदगी के स्पष्ट वीडियो सामने आ गए थे। यह खबर प्रसारित होने के बाद सरकार ने इसे गंभीरता से लिया। वीडियो में दोनों अधिकारियों की लापरवाही मानी गई है। इस पर सरकार ने मामले में जांच बिठा दी। दोनों अधिकारियों के खिलाफ फिलहाल जांच चल रही है। ऐसे में सरकार ने इस प्रकरण में दोनों अधिकारियों की लापरवाही मानते हुए तुरंत प्रभाव से दोनों को निलंबित कर दिया है।
उधर एसपी चूनाराम जाट ने एएसआई रूपाराम सहित तीन पुलिस कर्मियों को सस्पेंड कर दिया। टोंक के तीन कार्मिकों को भी सस्पेंड किया गया है।