भुवनेश्वर। यहां के इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंटसेज एंड एसयूएम में भी आज से Covaxin का ट्रायल शुरू हुआ। ट्रायल के पहले दौरे में 375 लोगों को डोज दी जाएगी। यह कोविड-19 के लिए भारत में बनी पहली वैक्सीन होगी।
दरअसल, भारत दुनिया का सबसे बड़ा वैक्सीन निर्माता है, इसलिए उससे पूरी दुनिया की उम्मीद जुड़ी है। देश में कोरोना केसेज साढ़े ग्यारह लाख से ज्यादा हो गए हैं। दुनियाभर की तरह भारत में भी हालात देखते हुए वैक्सीन बनाने की प्रक्रिया में तेजी आई है।
Covaxin हैदराबाद की भारत बायोटेक ने इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) और नैशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वॉयरलॉजी (NIV) के साथ मिलकर यह वैक्सीन बनाई है। इसका कोडनेम BBV152 है।
ICMR ने जिन 12 सेंटर्स को ट्रायल के लिए चुना है, उनमें से भुवनेश्वर का यह सेंटर भी एक है। ट्रायल को लेकर सारे इंतजाम कर लिए गए हैं। यहां पर पहले फेज में 30-40 कैंडिडेट्स शामिल होंगे। फिर वह सभी ट्रायल सेंटर के टच में रहेंगे।
मालूम हो कि भारत में बनी पहली कोरोना वैक्सीन Covaxin का फेज 1 ट्रायल 15 जुलाई 2020 से शुरू हुआ। दिल्ली स्थित एम्स में फेज 1 ट्रायल के तहत सबसे बड़ी स्टडी हो रही है। यहां सोमवार (20 जुलाई) से वैक्सीन के ट्रायल शुरू हुए हैं। एम्स में 100 वॉलंटिअर्स पर ट्रायल किए जा रहे हैं।