वॉशिंगटन। अमरीकी वैज्ञानिकों ने ‘रामसेतु’ के रहस्य से पर्दा उठाते दावा किया है कि भारत और श्रीलंका के बीच एक सेतु बना होने के प्रमाण मिले हैं और यह सेतु मानव निर्मित है।
अमरीकी भू-वैज्ञानिकों के अनुसंधान के मुताबिक रामेश्वरम के पम्बन द्वीप से श्रीलंका के मन्नार द्वीप के बीच 50 किलोमीटर लंबी श्रृंखला मानव निर्मित है। राम सेतु को एडम्स ब्रिज भी कहा जाता है।
इस पर वैज्ञानिकों ने एनसिएंट लैंड ब्रिज नाम के एक कार्यक्रम भी बनाया है जो बुधवार शाम साढ़े 7 बजे डिस्कवरी कम्युनिशेन के साइंस चैनल पर अमरीका में दिखाया गया।
इस चैनल पर चल रहे इस प्रोमो को 24 घंटे के अंदर 11 लाख से ज्यादा लोग देख चुके हैं। सूचना एवं प्रसारण मंत्री स्मृति इरानी ने इस वीडियो पर ट्वीट करते हुए ‘जय श्री राम’ भी लिखा है।
साइंस चैनल के ट्रेलर के मुताबिक इंडियाना यूनिवर्सिटी नॉर्थवेस्ट, यूनिवर्सिटी ऑफ कोलोराडो बोल्डर और सदर्न ऑरेगान यूनिवर्सिटी के वैज्ञानिकों ने रिसर्च में पाया है कि राम सेतु मानव निर्मित है।
उनका मानना है कि सैंड बार प्राकृतिक हो सकते हैं लेकिन उनके ऊपर रखे पत्थरों को कहीं दूर से लाकर किसी ने रखा है। ये चट्टानें 7000 साल पुरानी हैं, जबकि सैंड बार केवल 4000 साल पुराने। इस समय को ही रामायण काल माना जाता है।
दूसरी ओर लोग आर्कियोलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया पर सवाल उठाने लगे हैं। संदीप सिंह नाम के ट्विटर यूजर ने लिखा – जय श्री राम… लेकिन ASI क्या कर रहा है? यह बात तो दुनिया को हमारे जरिए पता चलनी चाहिए थी न कि कोई साइंस चैनल हमें बताता।