भोपाल। नामदेव समाज विकास परिषद मध्यप्रदेश 3315 की आमसभा रविवार को भोपाल में सम्पन्न हुई। आमसभा काफी हंगामेदार रही। सदस्यों ने परिषद के प्रदेशाध्यक्ष राजेन्द्र नामदेव मेहर पर अनियमितता का आरोप लगाते हुए उन्हें 6 साल के लिए परिषद से निष्कासित कर दिया।
इस आमसभा की खबरें स्थानीय मीडिया में प्रमुखता से प्रकाशित हुई। खबरों के अनुसार सभा समाज के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं परिषद के मुख्य संरक्षक बाबूजी शिवकुमार नामदेव शहडोल की विशेष उपस्थिति में आयोजित की गई।
इसमें विवादित 600 आजीवन सदस्यों से मिली चंदे की राशि जमा नहीं करने के आरोप में परिषद के प्रांतीय अध्यक्ष राजेन्द्र नामदेव मेहर के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाया गया।
आमसभा में मौजूद आजीवन सदस्यों ने सर्वसम्मति से पारित कर मेहर को प्रांतीय अध्यक्ष पद से हटा दिया। साथ ही उन्हें परिषद से 6 साल के लिए निष्कासित करते हुए प्रांतीय कार्यकारिणी को तत्काल प्रभाव से शून्य घोषित कर दिया।
आमसभा में उपस्थित समाज बंधुओं ने सर्वसम्मति से 21 सदस्यीय संचालन समिति का गठन किया है। इसकी देखरेख में अगला प्रांतीय अधिवेशन बुलाकर नए प्रांतीय अध्यक्ष का चुनाव किया जाएगा।
अवधनारायण नामदेव भोपाल को 21 सदस्यीय संचालन समिति का कार्यवाहक अध्यक्ष नियुक्त किया गया है।
मेहर थाने से पुलिसकर्मी लेकर आमसभा में पहुंचे। लेकिन सदस्यों के तीखे तेवर के चलते उनकी एक न चली।
बहरहाल आमसभा में हुए निर्णय को लेकर समाज में तीखी प्रतिक्रिया है। मेहर के समर्थकों ने आमसभा के फैसले को गलत बताया है।
इनका कहना है
इस सम्बंध में मेहर ने मीडिया को बयान दिया कि यह आमसभा अवैध है। बिना अध्यक्ष व महामंत्री की अनुमति आमसभा नहीं बुलाई जा सकती। आमसभा में कुछ ही सदस्य थे जबकि परिषद के डेढ़ हजार से ज्यादा आजीवन सदस्य हैं। उन्होंने गबन का आरोप गलत बताते हुए कहा कि उनके पास पर्याप्त दस्तावेज हैं। उन्होंने थाने में व रजिस्ट्रार फर्म सोसायटी को भी शिकायत दी है।