न्यूज नजर : हिन्दू पंचांग में कृष्ण पक्ष का अंतिम दिन अमावस्या होता है। जब यह शनिवार के दिन होती है तो इसे शनि अमावस्या कहा जाता है। अमावस्या की रात को चन्द्रमा आकाश के घनघोर अंधकार में खो जाता है। इस बार 11 अगस्त को शनि अमावस्या पर महासंयोग बन रहा है।
पहला तो शनि कृपा और पितरों की कृपा पाने के लिए ये दिन सबसे उत्तम है, दूसरा त्यौहारों का बीजारोपण करने वाली हरियाली तीज आएगी। इस पर्व को हरियाली अमावस्या के नाम से भी जाना जाता है। तीसरा इसी दिन सूर्य ग्रहण भी लगेगा, जो भारत में दिखाई नहीं देगा इसलिए सूतक भी नहीं लगेगा। भारतीय समय के अनुसार ये ग्रहण दोपहर 1:32 से शुरू होगा, मोक्ष शाम 5 बजे होगा। इस दिन किए गए शुभ काम, हवन-पूजा, श्राद्ध- तर्पण और दान-पुण्य का अक्षय गुणा फल प्राप्त होगा।
शनिवार के दिन भगवान शिव की पूजा शुभ फलदायी रहेगी। क्योंकि सावन का महीना चल रहा है, जो भोले बाबा को बहुत प्यारा है। दूसरा वह शनि देव के गुरू हैं। उन्होंने ही शनि देव को संसार का न्यायाधीश का कार्य सौंपा है।
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